Jul 2, 2008

भारतीय खाद्य निगम के गोदामों में सड़ गए दस लाख टन अनाज

नयी दिल्ली २ जुलाई-पिछले एक दशक के दौरान भारतीय खाद्य निगम के गोदामों में सैकड़ों करोड़ रूपये मूल्य के १० लाख टन से ज्यादा अनाज सड़ गए जो एक करोड़ से ज्यादा लोगों की एक साल तक पेट की आग बुझाने के लिए काफी था।
यह स्थिति तब है जब संयुक्त राष्ट्र की एक रिपोर्ट में रेखांकित किया गया है कि भारत के ६३ प्रतिशत बच्चे भूखे पेट सोने के लिए मजबूर हैं।
यह स्थिति तब है जब निगम ने अनाजों को भंडारण के समय नुकसान से बचाने के लिए २४५ करोड़ रूपये खर्च किए। यह विडंबना है कि अनाज के सड़ जाने के बाद उन्हें निबटाने के लिए भी निगम को २ .५९ करोड़ रूपये खर्च करने पड़े।
अनाजों के भंडारण से संबंधित ये सनसनीखेज तथ्य सूचना के अधिकार आरटीआई .के तहत दिल्ली के एक निवासी देवाशीष भट्टाचार्य के आवेदन पर सामने आए।
भट्टाचार्य के सवाल पर निगम ने उन्हें सूचित किया कि देश भर में अनाजों की खरीदारी और वितरण की जिम्मेदारी निभा रही सरकारी एजेंसी के भंडारों में पिछले एक दशक के दौरान १० लाख टन अनाज सड़ गए।

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