Jul 9, 2008

परमाणु करार से दोनों देशों को फायदा

प्रधानमंत्री मनमोहनसिंह और अमेरिका के राष्ट्रपति जॉर्ज डब्ल्यू बुश ने भारत-अमेरिका असैन्य परमाणु करार की सराहना करते हुए कहा कि इससे दोनों देशों को फायदा होगा।
आधिकारिक सूत्रों के अनुसार औद्योगिक देशों के संगठन जी-आठ के शिखर सम्मेलन के दौरान बुश और डॉ। सिंह ने बुधवार की सुबह यहाँ अलग से विंडसर होटल में बैठक की। आधे घंटे चली इस बैठक के बाद दोनों नेताओं ने कहा कि भारत और अमेरिका के बीच रिश्ते बेहतर दौर में हैं।
बुश ने भारतीय प्रधानमंत्री के नेतृत्व की तारीफ करते हुए उन्हें एक महान नेता बताया। समझा जाता है कि डॉ. सिंह ने परमाणु करार को अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (आईएईए) और परमाणु आपूर्तिकर्ता समूह (एनएसजी) से सहमति दिलाने के लिए भारत द्वारा उठाए जाने वाले कदमों के बारे में अमेरिकी राष्ट्रपति को जानकारी दी।
उन्होंने इसके लिए बुश से भी मदद का अनुरोध किया ताकि भारत-अमेरिका असैन्य परमाणु करार को इन दोनों अंतरराष्ट्रीय निकायों से समय रहते मंजूरी मिल सके और इसे वर्ष के अंत तक अमरीकी कांग्रेस की सहमति के लिए पेश किया जा सके।
प्रधानमंत्री बुश के साथ द्विपक्षीय बैठक में भाग लेने के लिए तड़के सड़क मार्ग से सपोरो से टोयाको के लिए रवाना हुए। उनके साथ विदेश सचिव शिवशंकर मेनन और परमाणु करार पर प्रधामंत्री के विशेष दूत श्याम सरन भी थे।
सूत्रों ने बताया कि अमेरिकी राष्ट्रपति के साथ बैठक के बाद प्रधानमंत्री जी-आठ और ओ-पाँच देशों के साथ बहुपक्षीय वार्ता में भाग लेंगे।
उसके बाद उनका रूस, जापान, कनाडा और ऑस्ट्रेलिया के नेताओं के साथ द्विपक्षीय बैठक में भाग लेने का कार्यक्रम है। अंत में डॉ. सिंह ब्रिक देशों (ब्राजील, रूस, भारत और चीन) के नेताओं के साथ संक्षिप्त बातचीत में भाग लेंगे।

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